राजस्थान में फर्जी एनओसी से अंग प्रत्यारोपण के बाद अब प्लाज्मा चोरी का मामला सामने आया है। जयपुर स्थित राज्य के सबसे बड़े जेकेलान सरकारी अस्पताल में एक लैब टेक्नीशियन प्लाज्मा चोरी करते पकड़ा गया है। उसकी कार से 110 यूनिट प्लाज्मा बरामद हुआ है, जिसे ब्लड बैंक में जमा करा दिया गया है।

काफी समय से चोरी कर रहा था प्लाज्मा

प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि लैब टेक्नीशियन कृष्णकांत कटारिया काफी समय से प्लाज्मा चोरी कर रहा था। वह जेकेलान से चुराए प्लाज्मा को निजी अस्पतालों में बेच देता था। प्लाज्मा सरकारी अस्पतालों में नि:शुल्क दिया जाता है, जबकि निजी अस्पतालों में इसके तीन से चार हजार रुपये वसूले जाते हैं। अस्पताल के अधीक्षक डा. कैलाश मीणा ने बताया कि उच्च स्तरीय जांच कमेटी गठित की गई है, जिसकी रिपोर्ट मिलने के बाद पुलिस में रिपोर्ट दर्ज कराई जाएगी। प्रदेश में प्लाज्मा चोरी का पहला मामला सामने आया है।

अंग प्रत्यारोपण मामले में हो रहे नए राजफाश

उधर, अंग प्रत्यारोपण मामले में जयपुर के फोर्टिस और ईएचसीसी अस्पताल में अंग प्रत्यारोपण करने वाले चिकित्सकों एवं उनके सहायकों के जब्त मोबाइल जांच के लिए एफएसएल में भेजे गए हैं। दोनों अस्पतालों के तीन चिकित्सकों सहित एक दर्जन कर्मचारियों ने राज्य भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो ने पूछताछ की है। पुलिस ने अंगदान करने वालों और अंग प्राप्त करने वालों को दोनों निजी अस्पतालों में लाने वाली दिल्ली की मैड सफर कंपनी के निदेशक सुमन जाना व दलाल सुखमय नंदी से पूछताछ की है।

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